पितृण का संधि विच्छेद (pitrn ka sandhi vichchhed) : - - www.studyandupdates.com

Wednesday

पितृण का संधि विच्छेद (pitrn ka sandhi vichchhed) : -

Sandhi vichchhed  - संधि विच्छेद



पितृ + ऋण = पितृण


पितृण का संधि विच्छेद  =  पितृ + ऋण (ऋ + ऋ = ऋ)




संधि का प्रकार :- दीर्घ स्वर सन्धि

   

दीर्घ स्वर सन्धि : - जब दो शब्दों की संधि करते समय (अ, आ) के साथ (अ, आ) हो तो ‘आ‘ बनता है, जब (इ, ई) के साथ (इ, ई) हो तो ‘ई‘ बनता है, जब (उ, ऊ) के साथ (उ, ऊ) हो तो ‘ऊ‘ बनता है।








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